श्रीनगर मेडिकल कॉलेज के 368 कार्मिकों की वर्षों पुरानी मुराद पूरी

वेतनवृद्धि की लम्बी लड़ाई लड़ने के बाद आखिरकार श्रीनगर मेडिकल कॉलेज के 368 संविदा कार्मिकों की वर्षों पुरानी मुराद पूरी हो गई है। कॉलेज की स्थापना से लेकर अब तक अल्प वेतन में काम कर रहे कार्मियों ने इसका श्रेय प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत को दिया। कार्मिकों का कहना है कि वेतनवृद्धि को लेकर उनकी मांग को स्वास्थ्य मंत्री ने तवज्जो दी और वर्षों पुरानी समान कार्य-समान वेतन की मांग को अमलीजामा पहनाया।

राजकीय मेडिकल कॉलेज श्रीनगर गढ़वाल में स्थापना के समय से ही विभिन्न श्रेणी के शिक्षणेत्तर पदों पर तात्कालिक आवश्यकता के अनुसार संविदा, दैनिक एवं नियत वेतनमान के आधार पर तैनात कार्मिक अल्प मानदेय पर कार्य करते आ रहे थे। जबकि उन्हीं के समकक्ष उपनल के माध्यम से तैनात कार्मिक उनसे दुगने मानदेय पर कार्य कर रहे थे। जिसको लेकर मेडिकल कॉलेज के अल्प मानदेय प्राप्त कार्मिकों में शासन व कॉलेज प्रशासन के विरूद्ध काफी असंतोष व्याप्त था।

इसका खामियाजा स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत को अपने विधानसभा चुनाव के दौरान कार्मिकों के विरोध व एंटी इनकंवेंटी के रूप में भुगतना पड़ा। इसके बावजूद स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत ने असंतुष्ट कार्मिकों को आश्वस्त किया था कि उनके साथ न्याय होगा। विभागीय मंत्री की पहल पर कॉलेज प्रशासन द्वारा मानदेय वृद्धि का प्रस्ताव शासन को भेजा गया। शासन द्वारा प्रस्ताव को कैबिनेट रखा गया, तथा राज्य कैबिनेट के द्वारा कार्मिकों की वर्षों पुरानी उपनल कार्मिकों के समान मानदेय दिये जाने की मांग पर मुहर लगा दी गई।

आखिरकार कैबिनेट की स्वीकृति के उपरांत चिकित्सा शिक्षा विभाग ने वर्षों से प्रशासनिक अधिकारी, नर्सिंग अधिकारी, लैब टेक्नीशियन सहित 38 विभिन्न श्रेणी के पदों पर संविदा, दैनिक व नियत वेतनमान पर तैनात कार्मिकों का वेतनमान उपनल कार्मिकों के समान बढ़ाने का शासनादेश जारी कर दिया। शासनादेश जारी होते ही मेडिकल कॉलेज के अल्प वेतनभोगी कार्मिकों ने स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत का आभार व्यक्त करते हुये आपस में मिठाईयां बांटकर खुशी जाहिर की।

 

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