चारधाम यात्रा 2023: नया बाइपास बनने में लगेगा समय, जोशीमठ से ही जाएंगे बदरीनाथ
जोशीमठ में हो रहे भू-धंसाव के बीच चारधाम यात्रा को लेकर सरकार ने अहम बयान दिया है। प्रदेश के आपदा प्रबंधन सचिव, डॉ. रंजीत सिन्हा ने कहा है कि बदरीनाथ यात्रा जोशीमठ रूट से ही होगी।
उन्होंने कहा कि नए बाईपास के निर्माण में अभी दो से ढाई साल लगेंगे, लिहाजा यात्रा के लिए जोशीमठ रूट का ही विकल्प है।उन्होंने कहा कि यात्रियों की सुरक्षा की पूरी जिम्मेदारी शासन-प्रशासन की होगी।
बीते रोज देहरादून सचिवालय स्थित मीडिया सेंटर में पत्रकारों से बातचीत करते हुए डॉ. रंजीत सिन्हा ने बताया कि भू-धंसाव के बाद बदरीनाथ हाईवे पर भी कुछ स्थानों पर दरारें आई हैं, लेकिन राहत की बात यह है कि उनमें बढ़ोतरी नहीं हो रही है।
उन्होंने कहा कि तकनीकी संस्थाओं की फाइनल रिपोर्ट आने के बाद ही इस बारे में कुछ फैसला लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि अगले तीन से चार सप्ताह में तकनीकी संस्थाओं की फाइनल रिपोर्ट आ जाएगी।
औली में प्रस्तावित विंटर गेम्स को लेकर उन्होंने कहा कि अभी इसे स्थगित नहीं किया गया है। उन्होंने कहा कि इस पर पर्यटन विभाग की ओर से फैसला लिया जाना है।
इस बीच जोशीमठ में भू-धंसाव की स्थिति गंभीर होती जा रही है, आलम ये है की दिन- प्रतिदिन दरकते घरों की संख्या में इजाफा हो रहा है, बढती ठंड भी लोगों की परेशानियां बढा रही है।
आपदा प्रबंधन सचिव, डॉ. रंजीत सिन्हा ने कहा कि जोशीमठ में जिस प्रकार से हालात बन रहे हैं उसे देखते हुए जरूरत पड़ने पर प्रभावितों को भराड़ीसैण स्थित विधानसभा भवन में शिफ्ट किया जा सकता है।
उन्होंने कहा कि भराड़ीसैंम में विधानसभा परिसर के विधायक आवास और ऑफिसर्स हॉस्टल में प्रभावितों को अस्थाई रूप से शिफ्ट किया जा सकता है। सचिव डॉ. सिन्हा ने कहा कि शासन के संज्ञान में विधानसभा भराड़ीसैण का ऑप्शन है जिसे समय आने पर काम में लिया जाएगा।
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