उत्तराखंड राज्य को भ्र्ष्टाचार मुक्त बनाने के लिए धामी सरकार के जीरो टॉलरेंस पर विजिलेंस की टीम बहुत तेज़ी से काम कर रही है। राज्य के विभिन्न विभागों राजस्व, पुलिस और स्वास्थ्य महकमा पर विजिलेंस टीम की कड़ी नज़र है। राजस्व, पुलिस और स्वास्थ्य महकमा इन तीनों विभागों के लिए ही सबसे अधिक शिकायतें डायल 1064 पर आ रही हैं। नतीजतन विजिलेंस ने तीन साल के भीतर 42 ट्रैप किए जिनमें से आधे से ज्यादा इन्हीं तीनों विभाग के हैं। सबसे ज्यादा राजस्व विभाग के 15 अधिकारी और कर्मचारियों को रिश्वत के साथ पकड़ा गया है।
2021 में कुल सात अधिकारियों और कर्मचारियों को रिश्वत के साथ पकड़ा गया था। 2022 में इनकी संख्या दोगुने से अधिक 15 हुई।
डायरेक्टर विजिलेंस डॉ. वी मुरुगेशन ने जानकारी देते हुए बताया कि भ्रष्टाचार के खिलाफ विजिलेंस तेजी से काम कर रही है। 2021 में कुल सात अधिकारियों और कर्मचारियों को रिश्वत के साथ पकड़ा गया था। 2022 में इनकी संख्या दोगुने से अधिक 15 हुई। जबकि, 2023 में कुल 20 अधिकारियों और कर्मचारियों को रिश्वत लेते रंगेहाथ गिरफ्तार किया गया है। जहां तक इस साल की बात है तो केवल 33 दिनों में विजिलेंस ने सात अधिकारियों और कर्मचारियों को घूस लेते पकड़ा है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में जागरुकता के लिए काम किया जा रहा है। लोगों से अपील की जा रही है कि वे खुलकर भ्रष्टाचार के खिलाफ खड़े हों।
पिछले साल की विजिलेंस की कार्रवाई में 30 विवेचनाएं पूरी हुईं है। जिनमें 18 मुकदमों में न्यायालय में चार्जशीट भेजी गई। 16 आरोपियों को दोषी करार देते हुए कोर्ट ने सजा सुनाई। वहीं छह राजपत्रित अधिकारियों को रिश्वत के साथ पकड़ा।
इन विभागों में पकड़े गए इतने रिश्वतखोर
राजस्व विभाग- 15
पुलिस विभाग- 02
स्वास्थ्य विभाग- 04
विद्युत विभाग- 03
पंचायती राज- 02
शहरी विकास-01
पशुपालन विभाग- 01
आबकारी विभाग- 01
परिवहन विभाग- 01
सहकारिता विभाग- 01
मंडी समिति- 02
लोनिवि- 02
राज्य कर विभाग- 02
युवा कल्याण- 01
वक्फ बोर्ड- 01
सचिवालय प्रशासन- 02
वन विभाग- 01
इस साल के ट्रैप
राजस्व विभाग- 01
पुलिस- 02
हरिद्वार और ऊधमसिंहनगर में पकड़े गए सबसे ज्यादा :
तीन वर्षों में रिश्वत के साथ सबसे ज्यादा हरिद्वार और ऊधमसिंहनगर में अधिकारियों और कर्मचारियों को पकड़ा गया है। हरिद्वार में 12 और ऊधमसिंहनगर में 11 को रिश्वतखोरी की के आरोप में गिरफ्तार किया गया। इसी अवधि में देहरादून में चार, उत्तरकाशी में दो, पौड़ी में एक, अल्मोड़ा में दो, पिथौरागढ़ में एक और नैनीताल में पांच अधिकारियों-कर्मचारियों को रिश्वत लेते दबोचा गया है।
डायरेक्टर विजिलेंस डॉ. वी मुरुगेशन ने भविष्य की कार्ययोजना पर भी बताते हुए कहा कि लंबित प्रकरणों को अधिक से अधिक पूरा किया जाएगा। केंद्रीय एजेंसियों से तालमेल बैठाकर काम किया जाएगा साथ ही जागरुकता कार्यक्रम में तेजी लाई जाएगी।