कौन होगा राजस्थान का अगला मुख्यमंत्री ? दौड़ में शामिल है कई दावेदार
भाजपा ने अभी तक यह घोषणा नहीं की है कि राजस्थान का अगला मुख्यमंत्री कौन होगा, लेकिन प्रदेश में मुख्यमंत्री को लेकर दौड़ तेज़ हो गई है । एक तरफ जहां इस दौड़ में प्रदेश के कई बड़े नेता शामिल है तो वही दूसरी तरफ अटकलों का बाजार भी काफी गर्म नजर आ रहा है ।
राजस्थान में विधानसभा चुनावों के नतीजे आने के चार दिन बाद भी अगला मुख्यमंत्री कौन होगा इस पर सस्पेंस बरकरार है । 200 सदस्यीय विधानसभा में 115 सीटें जीतने वाली भाजपा ने अभी तक शीर्ष पद के लिए अपने चयन की घोषणा नहीं की है।
बीजेपी आलाकमान ने इस मुद्दे पर चुप्पी साध रखी है । नवनिर्वाचित विधायक जयपुर और दिल्ली में प्रदेश नेताओं से मुलाकात कर रहे हैं, जिससे अटकलें और तेज हो गई हैं।
वही मुख्यमंत्री की दौड़ में प्रदेश के कई भारी भरकम भाजपा नेता शामिल है जिसमें पूर्व मुख्यमंत्री से लेकर, वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष और सांसद भी है ।
यह है दावेदार:
वसुंधरा राजे: दो बार की पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा के भीतर लोकप्रिय शख्सियत राजे को एक मजबूत दावेदार के रूप में देखा जाता है। उन्होंने झालावाड़ में झालरापाटन निर्वाचन क्षेत्र से 53,193 वोटों के अंतर से अपनी जीत दर्ज की और कुल 1,38,831 वोट हासिल किए।
महंत बालकनाथ: एक आध्यात्मिक नेता और नवनिर्वाचित विधायक बालकनाथ की तुलना उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से की जाती है। उन्हें भाजपा के हिंदुत्व एजेंडे के संभावित उम्मीदवार के रूप में देखा जा रहा है।
सीपी जोशी: बीजेपी के मौजूदा प्रदेश अध्यक्ष जोशी दो बार के सांसद हैं । वो मुख्यमंत्री की रेस में “डार्क हॉर्स:” साबित हो सकते हैं।
गजेंद्र सिंह शेखावत: केंद्रीय मंत्री और पूर्व सांसद, शेखावत एक और मजबूत दावेदार हैं। उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का करीबी और विश्वासपात्र माना जाता है।
दीया कुमारी: जयपुर शाही परिवार की सदस्य और भाजपा के भीतर एक उभरता चेहरा, कुमारी को युवा मतदाताओं को आकर्षित करने के लिए एक संभावित उम्मीदवार के रूप में देखा जा रहा है।
भाजपा ने इस विधानसभा चुनावों में कई सांसदों को भी मैदान में उतारा था जिनमें से जीतने वाले सांसदों ने हाल ही में प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात कर अपनी संसादी से इस्तीफा दे दिया ।
वही पूर्व सीएम वसुंधरा राजे के कल देर रात दिल्ली पहुंचने से अटकलों को बल मिला है। हालांकि दो बार मुख्यमंत्री रहीं राजे का कहना है की वो अपनी बहू से मिलने दिल्ली आई है और मुख्यमंत्री को लेकर उन्होंने चुप्पी साधी हुई है ।
फैसले को अंतिम रूप देने के लिए भाजपा दिल्ली में बैठकें कर रही है । राज्य प्रभारी अरुण सिंह ने स्पष्ट किया कि भाजपा का संसदीय बोर्ड मुख्यमंत्री का फैसला करेगा, नवनिर्वाचित विधायकों ने पार्टी के फैसले के प्रति समर्थन व्यक्त किया है। उम्मीद है कि पार्टी नेताओं से बातचीत और विधायक दल की बैठक के बाद इसी सप्ताह फैसले की घोषणा कर दी जायेगी।
हाल के विधानसभा चुनावों में भाजपा ने 200 में से 115 सीटें हासिल कर भारी बहुमत हासिल किया है । वही कांग्रेस पार्टी 69 सीटों पर सिमट गई है ।
तमाम अटकलों और गतिविधियों के बावजूद राजस्थान के अगले मुख्यमंत्री को लेकर रहस्य बना हुआ है। भाजपा आलाकमान ने अभी भी अपने पत्ते नहीं खोलें है, जिससे सस्पेंस और बढ़ गया है। अब देखना होगा की इस रहस्य से पर्दा कब तक उठता है।