Joshimath Live Updates : नई टिहरी की तरह नया जोशीमठ बनाने का प्रस्ताव, प्रभावितों ने नकारा
जोशीमठ नगर पर मंडरा रहे खतरे को देखते हुए सरकार ने नई टिहरी की तर्ज पर नया जोशीमठ शहर बनाने का प्रस्ताव दिया है मगर स्थानीय लोगों ने इसे अस्वीकार कर दिया है।
सरकार ने जोशीमठ के लोगों के पुनर्वास के लिए तीन स्थान, जेपी कालोनी के पास उद्यान विभाग की जमीन, पीपलकोटी और गौचर में भूमि चिन्हित करने की बात कही है, लेकिन स्थानीय लोग इसके लिए तैयार नहीं हैं।
लोगों का कहना है कि बिना आर्थिक आकलन के उनके घरों को ध्वस्त न किया जाए। प्रशासन ने जोशीमठ में भूस्खलन से प्रभावित परिवारों को डेढ़ लाख रुपये की तात्कालिक अंतरिम सहायता देने का निर्णय लिया है मगर प्रभावित लोग इससे संतुष्ठ नहीं हैं।
दूसरी तरफ सरकार का कहना है कि डेढ़ लाख रुपये की यह मदद तात्कालिक है। जोशीमठ में पत्रकारों से बात करते हुए प्रदेश के सचिव मुख्यमंत्री, आर.मीनाक्षी सुन्दरम ने कहा कि आर्थिक मदद तात्कालिक है ताकि लोगों को कुछ राहत मिल सके।
उन्होंने बताया कि 50 हजार रूपये घर शिफ्ट करने तथा 1 लाख रूपये आपदा राहत मद से एडवांस में उपलब्ध कराया जा रहा है, जो कि बाद में समायोजित किया जाएगा।
इस बीच जोशीमठ के भूस्खलन प्रभावितों के समर्थन में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने देहरादून में मौन उपवास किया।
गांधी पार्क में समर्थकों के साथ धरने पर बैठे हरीश रावत ने कहा कि जोशीमठ में प्रभावितों लोगों के घरों को तोड़े जाने से पहले मुआवजे के तौर पर वन टाइम सेटेलमेंट किया जाना जाहिए।
उन्होंने कहा कि बिना किसी पुनर्वास नीति के भवनों को ध्वस्तीकरण अन्यायपूर्ण है। हरीश रावत ने कहा कि सरकार यदि 24 घंटे के भीतर वन टाइम सेटलमेंट नहीं करती, तो कांग्रेस पार्टी सड़क पर उतर कर आंदोलन करेगी।
जोशीमठ नगर क्षेत्र में भू-धंसाव के कारण 723 भवनों को चिन्हित किया गया है जिनमें दरारें आई हैं। बीते रोज 45 भवनों को चिन्हित किया गया। कुल 723 में से 86 भवन पूरी तरह असुरक्षित घोषित किए जा चुके हैं। अभी तक 131 परिवारों के 462 लोगों को अस्थायी राहत शिविरों में विस्थापित किया गया है।
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