आरटीओ की रियलिटी चैकिंग के बाद भी नहीं सुधरें चालक व परिचालक
दून में परिवहन अधिकारियों की छापेमारी के बाद भी सिटी बसों की मनमानी नहीं रुक रही है। सिटी बसों में आज भी पहले के ही दिनों की भांति नियमों की धज्जियां उड़ती दिखीं। चैकिंग के 24 घंटे बीत जाने के बाद भी सिटी बस संचालक नहीं सुधरे। ट्यूजडे को दैनिक जागरण-आई नेक्स्ट ने जब सिटी बसों का रियलिटी चेक किया तो खुलासा हुआ। बसों में न तो ड्राइवर, कंडक्टर यूनिफॉर्म में थे। हद तो ये है कि अब भी पैसेंजर को टिकट भी नहीं दिया जा रहा। टिकट मांगने पर कहा कि टिकट बनने गए हैं, कुछ दिनों में आ जायेंगे तब टिकट मिलना शुरू होंगे।
इन रूट्स पर की पड़ताल
राजपुर रोड,सहस्रधारा रोड,आईटी पार्क,परेड ग्राउंड,दर्शनलाल चौक,प्रिंस चौक,सहारनपुर चौक,दिलाराम चौक
मिली ये कमियां
-ड्राइवर व कंडक्टर ने नहीं पहनी थी यूनिफॉर्म।
-पैसेंजर्स को मांगने के बाद भी नहीं दिया जा रहा था टिकट।
-महिला सीट पर बैठे मिले पुरुष।
-पैनिक बटन व सुरक्षा के नहीं मिले इंतजाम।
टीम आईएसबीटी से परेड ग्राउंड की ओर आने वाली सिटी बस में चढ़ी। यहां सबसे पहले बस में ड्राइवर कंडक्टर बिना यूनिफॉर्म के मिले। जब ड्राइवर व कंडक्टर से यूनिफॉर्म के विषय में जानकारी ली तो ड्राइवर ने यूनिफॉर्म दिखाते हुए कहा कि गंदी है। ऐसे में इसे कैसे पहनें। दून की सड़कों पर अलग-अलग रूट पर जा रही करीब 12 बसों में जब टीम ने जाकर पड़ताल की, तो कोई भी ड्राइवर व कंडक्टर यूनिफॉर्म में नहीं मिला।
जल्द प्रिंट होकर आएंगे टिकट!
3 बजकर 40 मिनट पर आईएसबीटी से राजपुर जा रही बस में टीम पहुंची। यहां बस में सवारियों ने टिकट न मिलने पर नाराजगी जताई। पैसेंजर्स का कहना था कि रोडवेज की बसों में तो टिकट मिलता है। लेकिन, ये लोग कई बार मांगने पर भी टिकट नहीं देते। जबकि, इलेक्ट्रिक बस में टिकट मिल जाता है। इस पर जब कंडक्टर से पूछा तो जवाब में कहा कि टिकट तैयार होने गए हैं, जल्द ही प्रिंट होकर आ जाएंगे। टिकट नहीं हो की बात कहकर पैसेंजर से मनमाने पैसे वसूल जा रहे हैं।